Three Questions For A Better World

Author
Charles Gibbs
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Image of the Weekएक बेहतर विश्व के लिए तीन प्रश्न द्वारा चार्ल्स गिब्ब्स

मेरे मित्रों ने गरीबों एवं अमीरों के मध्य बढ़ रही असमानता के दूषित परिणामों को देखने में मेरी मदद की है| एक ज्ञानी अफ्रीकी धार्मिक नेता, जिनका नाम जोसे चिपेंदा है, ने मुझे इस स्थिति के, वास्तविक किन्तु अप्रिय, दृष्टिकोण को देखने की चुनौती दी है| जब मैं उनसे मिला था , तब आदरणीय चिपेंदा , संयुक्त अफ्रिका के गिरिजाघरों की परिषद् के नेता के रूप में, अपनी दो दशक की सेवा के बाद, अवकाश ग्रहण करने वाले थे| उन्होंने मेरे संयुक्त धार्मिक पहल के स्पष्टीकरण को उस संशयवाद से सुना, जो अधिकतर दक्षिण एवं पूरब के व्यक्तियों को होता है , जब वो उत्तर एवं पश्चिम के व्यक्तियों को , विश्व को बचाने के लिए एक और अच्छे उपाय को आगे बढ़ाने का प्रयास करते हुए देख रहे होते हैं|

मेरी बात पूरी होने के पश्चात उन्होंने कहा कि इस संयुक्त धार्मिक पहल को समर्थन देने से पहले मैं ये जरूर देखना चाहूँगा कि ये उन तीन समूहों के लिए क्या कर रहा होगा, जिन्हें मैंने अपनी वर्षों की सेवा में जाना है| पहला समूह उन व्यक्तियों का है जिनकी पैदाइश ही मृत्यु के लिए हुई है| जिन परिस्थितियों में वो पैदा हुए हैं वो इतनी कठिन हैं, और उनके जीने का उत्साह इतना कमजोर है, कि वो इस विश्व में बहुत ही कम समय के लिए होते हैं, और जैसे ही उनका उत्साह क्षीण होता है वैसे ही उनकी मृत्यु हो जाती है | आपका एक बेहतर विश्व बनाने का प्रयास उन व्यक्तियों के लिए क्या करेगा , जिनका जन्म ही मृत्यु के लिए हुआ है? दूसरा समूह , जो अत्याधिक विशाल है, उन लोगों का है जिनकी पैदाइश सिर्फ गुज़ारा करने के लिए ही हुई है|ये व्यक्ति अपना पूरा जीवन सिर्फ अपने जीवन के दैहिक उत्साह को जीवित रखने के लिए . प्रत्येक दिन संघर्ष में बिता देते हैं, |आपका यह कार्य उन व्यक्तियों के लिए क्या करेगा जिनकी पैदाइश ही सिर्फ गुज़ारा करने के लिए हुई है? तीसरा समूह, और ये अत्यंत ही छोटा है, उन व्यक्तियों का है, जिनका जन्म वास्तविक जीवन जीने के लिए हुआ है| उन्हें बहुतायत का आशीर्वाद है, हालाँकि वो इसके प्रति बेखबर होते हैं, और उनके पास इस जीवन में उन्नति करने का पर्याप्त मौका मिला होता है| आपका यह, एक बेहतर जीवन का प्रयास, उनसे क्या उम्मीद करेगा , और उनके लिए क्या करेगा जिनका जीवन उन्नति करने के लिए हुआ है?

मैं प्रयेक दिन इन प्रश्नों को अपने साथ रखता हूं एवं मेरा यह मानना है कि हमारे शिक्षण का मुख्य कार्य , प्रत्येक व्यक्ति को यह एहसास दिलाने का है कि वो तीन समूह, जो आदरणीय जोसे चिपेंदा ने बताये हैं, वो हमारी मानवीय प्रजाति के ही हिस्से हैं| हम सब भाई बहन हैं, जीवन के जाल के हम सब हिस्से हैं, और हमें ,जिन्हें बहुतायत का आशीर्वाद प्राप्त है और उन्नति के लिए ही पैदा हुए हैं , अपने कम सौभाग्यशाली भाई बहनों को नहीं भूलना चाहिए , चाहे वो हमारे पडोसी हों या विश्व के अन्य कोने में हों |

मनन के लिए बीज प्रश्न: आप अपने ,एक बेहतर संसार के जरूरी उपायों में , उन तीन प्रश्नों की सार्थकता से कैसा नाता रखते हैं? क्या आप उस समय की एक निजी कहानी साझा कर सकते हैं, जब आप एक बेहतर विश्व की परिकल्पना में, उन तीनो समूहों के बारे में सोच पाए हों ? अपने प्रयासों में ,उन तीनो समूहों की खुशहाली में लगे रहने में, आपको किस चीज़ से मदद मिलती है?
 

Charles Gibbs was the founding Executive Director of United Religions Initiative. He has published a book of poetry, and currently is working on a subsequent book.


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